'शेरे बलिया' के जीवन से प्रेरणा लें युवा
शेरे बलिया चित्तू पांडेय सेवा संस्थान की ओर से बुधवार को शेरे बलिया चित्तू पांडेय की 122वीं जयंती सर्वदलीय सभा के रूप में मनायी गयी। चौराहा स्थित उनकी प्रतिमा पर लोगों ने माल्यार्पण कर नमन किया। 'जब...
शेरे बलिया चित्तू पांडेय सेवा संस्थान की ओर से बुधवार को शेरे बलिया चित्तू पांडेय की 122वीं जयंती सर्वदलीय सभा के रूप में मनायी गयी। चौराहा स्थित उनकी प्रतिमा पर लोगों ने माल्यार्पण कर नमन किया। 'जब तक सूरज चांद रहेगा चित्तू पांडेय का नाम रहेगा...' के नारे लगाये गये। इस दौरान वक्ताओं ने कहा कि चित्तू पांडे का इतिहास गौरवपूर्ण रहा है। उनकी जीवन शैली से मौजूदा पीढ़ी को प्रेरणा लेने की जरूरत है।
वक्ताओं ने कहा कि देश की आजादी के आंदोलन में जो जज्बा हमारे सेनानियों में था, आज देश को बनाने व संवारने के लिए उसी जज्बे की आवश्यकता है। शेरे बलिया चित्तू पांडेय ने आजादी की लड़ाई में जो योगदान दिया, उसे किसी भी कीमत पर भुलाया नहीं जा सकता।
इस मौके पर रामाश्रय मिश्रा उजबुक, निर्मल उपाध्याय, शिवप्रताप ओझा, मुन्ना उपाध्याय, जावेद कमर खां, आशुतोष ओझा, अमित सिंह, रुपेश चौबे, परशुराम यादव, करुणानिधि तिवारी, मनन दूबे, अनिल पांडेय, मुन्ना यादव, धीरेन्द्र ओझा, विनय पांडेय, राधेश्याम यादव, रानू पाठक, अनुज अग्रहरि, रिशु तिवारी, चंचल मिश्रा, विकास दूबे, अमित दूबे, संतोष गुप्ता, तेजनारायण, अमरीश ओझा ने श्रद्धासुमन अर्पित किया। संचालन सागर सिंह राहुल ने किया। जैनेन्द्र पांडेय मिंटू ने सबका आभार जताया।