भारत को कठिन निर्णय लेने होंगेः आईएमएफ
अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष (आईएमएफ) ने कहा है कि भारत को आठ प्रतिशत की वृद्धि दर पर वापस लौटने के बारे में सोचने से पहले कुछ सख्त निर्णय लेने होंगे। आईएमएफ की सहायक निदेशक लारा पैपी ने एक कान्फ्रेंस...
अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष (आईएमएफ) ने कहा है कि भारत को आठ प्रतिशत की वृद्धि दर पर वापस लौटने के बारे में सोचने से पहले कुछ सख्त निर्णय लेने होंगे।
आईएमएफ की सहायक निदेशक लारा पैपी ने एक कान्फ्रेंस कॉल के दौरान संवाददाताओं को बताया कि आठ प्रतिशत की वृद्धि दर के दौर में वापस जाने के लिए आपको (भारत) कई कदम उठाने होंगे और निवेश बहुत तेजी से बढ़ाना होगा।
उन्होंने कहा कि यह बहुत हद तक इस बात पर निर्भर करेगा कि क्या सुधारों के सभी मोर्चे पर जिसके लिए सरकार ने प्रतिबद्धता दिखाई है, वह दमखम दिखा सकती है। एक सवाल के जवाब ने उन्होंने कहा कि हमें लगता है कि आठ प्रतिशत की वृद्धि दर पर वापस लौटने के लिए कई महत्वपूर्ण सुधारों की जरूरत है। भूमि अधिग्रहण विधेयक को संसद की मंजूरी की दरकार है..जीएसटी के लिए संविधान में संशोधन करने की जरूरत है।
वहीं श्रम कानूननों को और उदार बनाए जाने की आवश्यकता है जो थोड़ा मुश्किल प्रतीत होता है। आईएमएफ ने कल कहा था कि भारत की आर्थिक वृद्धि दर 2012-13 में घटकर 5.4 प्रतिशत पर आने की संभावना है जो बीते वित्त वर्ष में 6.5 प्रतिशत थी।
उन्होंने कहा कि इस कमजोर परिदृश्य की वजह निवेश की रफ्तार तेजी से घटना है। साथ ही हमें आपूर्ति के मोर्चे पर अड़चने नजर आती हैं जो निवेश घटने की एक प्रमुख वजह है और इसके चलते हमने आर्थिक वृद्धि दर का अनुमान घटाया है।