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आगरा में ट्रैफिक कर्मी ने व्यापारी को मारा चांटा, आक्रोश

भगवान टॉकीज फ्लाईओवर के नीचे शुक्रवार की सुबह ट्रैफिक कर्मी ने एक व्यापारी से अभद्रता कर दी। व्यापारी की गलती सिर्फ इतनी थी कि तीन सौ रुपये जुर्माना देने से इनकार किया था। चालान काटने को कहा। आरोप है...

आगरा में ट्रैफिक कर्मी ने व्यापारी को मारा चांटा, आक्रोश
लाइव हिन्दुस्तान टीमFri, 14 Oct 2016 11:30 PM
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भगवान टॉकीज फ्लाईओवर के नीचे शुक्रवार की सुबह ट्रैफिक कर्मी ने एक व्यापारी से अभद्रता कर दी। व्यापारी की गलती सिर्फ इतनी थी कि तीन सौ रुपये जुर्माना देने से इनकार किया था। चालान काटने को कहा। आरोप है कि ट्रैफिक कर्मी ने चांटा मार दिया। व्यापारी ने इसकी शिकायत एसएसपी से करने का फैसला किया है।

जयपुर हाउस निवासी मनोज अग्रवाल का मशीनरी का व्यापार है। वह सेंट्रो कार से न्यू आगरा गए थे। वापस लौटते समय पुल के नीचे ट्रैफिक पुलिस की जिप्सी खड़ी थी। मनोज के अनुसार पुलिस उनकी कार रुकवा ली। ड्राइवर बाहर गया। उससे कागजात मांगे। ड्राइवर ने कागज दिखा दिए। उससे डीएल मांगा। उसने वह भी दिखा दिया। उसके बाद प्रदूषण प्रमाणपत्र मांगा। उन्होंने वह भी दिखा दिया। इस दौरान वह गाड़ी में ही बैठे रहे। बाहर खड़े पुलिस कर्मी ने उनसे कहा नवाब बाहर निकल आ। सीट बैल्ट कौन लगाएगा। तीन सौ रुपये जुर्माना लगेगा। उन्होंने पैसे देने से इनकार कर दिया। कहा कि चालान काट दें। वह कोर्ट में जुर्माना जमा करेंगे। यह सुनते ही एक पुलिस कर्मी ने उन्हें चांटा मार दिया। कहा बड़ा कानूनची बन रहा है। पुलिस से अभद्रता करता है। व्यापारी के अनुसार जिसने मारपीट की उसकी नेम प्लेट पर सुरेश चंद यादव लिखा था। वह सहम गए। चुपचाप अपने घर आ गए। चौराहे पर बेवजह अपमान की बात उन्हें सता रही है। वह इस संबंध में एसएसपी से शिकायत करेंगे। वह शहर के सम्मानित नागरिक हैं। 52 साल की उम्र है। पुलिस को यह अधिकार किसने दिया कि वह उन्हें पीटे। उन्होंने कोई अपराध नहीं किया था।

जांच कर करेंगे कार्रवाई

एसपी ट्रैफिक राजेश कुमार सिंह को जब घटना बताई गई तो उन्होंने बताया कि सुरेश चंद नाम का कोई टीएसआई नहीं है। कोई एचसीपी तो नहीं वह यह पता कर रहे हैं। व्यापारी शिकायत करे वह कार्रवाई करेंगे।

जहां देखो वहां सिर्फ चेकिंग

जहां देखो वहां सिर्फ एक ही काम चल रहा है। चेकिंग अभियान। जहां चेकिंग चलती है भले ही वहां आड़े-तिरछे वाहन खड़े हों। डग्गेमार वाहन सवारियां भर रहे हों। ट्रैफिक कर्मियों को इससे मतलब नहीं। हाईवे और भगवान टॉकीज पुल के आस तो यही हालात हैं। शुक्रवार को भगवान टॉकीज के सामने सड़क मयूरी वालों ने घेर रखी थी। ट्रैफिक पुलिस कोई इससे कोई मतलब नहीं था। सड़क किनारे खड़े होकर दूसरे प्रदेश के नंबर की गाड़ियों की चेकिंग कर रहे थे। ऐसा ही कुछ हाल हाईवे पर था। सड़क किनारे लाइन से लोडिंग ऑटो और दूसरे प्रदेश के नंबर की गाड़ियों की लाइन लगी थी। कागजात चेक किए जा रहे थे। किसी को भी नियम तोड़ने पर नहीं रोका गया था। इस अभियान के पीछे मंशा क्या थी। यह ट्रैफिक कर्मी ही बता सकते हैं। ऐसा ही कुछ हाल सिकंदरा तिराहे के पास का था। वहां ट्रैफिक कर्मी दूर खड़े थे। होमगार्ड भागकर गाड़ियों को पकड़ रहा था। गाड़ी रुकते ही सबसे पहले चाबी अपने कब्जे में कर रहा था। उसके बाद कागज लेकर ड्राइवर को दूर खड़े ट्रैफिक कर्मी के पास ले जा रहा था। जहां भी चेकिंग चल रही थी वहां यातायात सामान्य नहीं था।

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