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मैकुलम की राह चलना भारी पड़ सकता है फ्रेडी को

एंड्रयू फ्लिन्टाफ नहीं बल्कि ब्रैंडन मैकुलम पहले ऐसे क्रिकेटर थे जिन्होंने इंडियन प्रीमियर लीग के दूसरे सत्र के पूरे टूर्नामेंट में खेलने के लिए फ्रीलांसर बनने की कोशिश की थी। सिडनी मार्निंग हेरल्ड...

मैकुलम की राह चलना भारी पड़ सकता है फ्रेडी को
एजेंसीWed, 16 Sep 2009 06:27 PM
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एंड्रयू फ्लिन्टाफ नहीं बल्कि ब्रैंडन मैकुलम पहले ऐसे क्रिकेटर थे जिन्होंने इंडियन प्रीमियर लीग के दूसरे सत्र के पूरे टूर्नामेंट में खेलने के लिए फ्रीलांसर बनने की कोशिश की थी।

सिडनी मार्निंग हेरल्ड की रिपोर्ट के अनुसार न्यूजीलैंड के विकेटकीपर बल्लेबाज मैकुलम के इस प्रयास के कारण ही आज इंग्लैंड के आलराउंडर फ्लिंटाफ का आईपीएल में भविष्य खतरे में पड़ गया है।

मैकुलम के प्रयासों को देखते हुए ही आईपीएल के अधिकारी सतर्क हुए और उन्होंने अपने राष्ट्रीय बोर्ड का अनुबंध ठुकराकर खिलाड़ियों को फ्री एजेंट बनने से रोकने के लिए दो सप्ताह पहले टूर्नामेंट के कायदे कानूनों में बदलाव किया।

आईपीएल आयुक्त ललित मोदी ने कहा कि प्रणाली में एक खामी का मैकुलम ने फायदा उठाने की कोशिश की और वह फ्री एजेंट बनना चाहते थे लेकिन दो सितंबर की बैठक में इस खामी को दूर कर दिया गया।

अब न सिर्फ संन्यास लेने वाले खिलाड़ियों बल्कि उन खिलाड़ियों को भी अपने घरेलू बोर्ड से अनापत्ति प्रमाणपत्र हासिल करना होगा जिन्हें अपने देश का केंद्रीय अनुबंध नहीं मिला है। इससे फ्लिंटाफ को सबसे अधिक परेशानी का सामना करना पड़ सकता है जिन्होंने फ्रीलांसर बनने के लिए इंग्लैंड एवं वेल्स क्रिकेट बोर्ड का अनुबंध ठुकरा दिया था।

मोदी ने कहा कि मैकुलम ने न्यूजीलैंड क्रिकेट के केंद्रीय अनुबंध पर हस्ताक्षर नहीं करने की धमकी देकर फ्री एजेंट बनने की कोशिश की थी। वह पूरे आईपीएल में खेलना चाहता था और टूर्नामेंट के नियमों में एक खामी थी लेकिन दो सितंबर की बैठक में हमने इसे दूर कर दिया और जिन खिलाड़ियों का केंद्रीय अनुबंध नहीं है उनके लिए नया नियम इसमें जोड़ा।

इससे पहले सिर्फ संन्यास लेने वाले खिलाड़ियों पर ही अपने घरेलू बोर्ड से अनापत्ति प्रमाणपत्र हासिल करने का नियम लागू होता था लेकिन मैकुलम के प्रयास से आयोजकों को मजबूर होकर नियमों की समीक्षा करनी पड़ी जिससे कि अब प्रत्येक खिलाड़ी को अनापत्ति प्रमाणपत्र देना होगा।

मोदी ने कहा कि नये संशोधन के अनुसार अंतरराष्ट्रीय खिलाड़ियों को अपने घरेलू बोर्ड से अनापत्ति प्रमाणपत्र हासिल करना होगा। हम चाहते हैं कि खिलाड़ी लगातार अपने देश की तरफ से खेलते रहें। कोई भी अनापत्ति प्रमाणपत्र से नहीं बच सकता है। इसे इस तरह से तैयार किया गया है कि खिलाड़ी फ्री एजेंट बनने की कोशिश नहीं कर पायें।

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