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बुद्धिजीवियों को हमेशा देश के साथ रहना चाहिएः रवि शंकर

केंद्रीय संचार एवं सूचना प्रौद्योगिकी मंत्री रविशंकर प्रसाद ने कहा है कि सत्ता आती-जाती रहती है, लेकिर बुद्धिजीवियों को हमेशा देश को आगे ले जाने वाली सोच रखनी चाहिए। आजकल कई ऐसे बुद्धिजीवी हैं,...

बुद्धिजीवियों को हमेशा देश के साथ रहना चाहिएः रवि शंकर
लाइव हिन्दुस्तान टीमSat, 24 Jan 2015 09:43 PM
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केंद्रीय संचार एवं सूचना प्रौद्योगिकी मंत्री रविशंकर प्रसाद ने कहा है कि सत्ता आती-जाती रहती है, लेकिर बुद्धिजीवियों को हमेशा देश को आगे ले जाने वाली सोच रखनी चाहिए। आजकल कई ऐसे बुद्धिजीवी हैं, जिन्हें देखकर हंसी आती है। समय के अनुसार उनकी सोच बदलती रहती है।

शनिवार को एएन सिन्हा समाज अध्ययन संस्थान में पंडित रामनारायण शास्त्री स्मारक न्यास की ओर से पंडित रामनारायण शास्त्री की 89वीं जयंती व 37वीं पुण्यतिथि समारोह में मंत्री ने कहा कि इमरजेंसी का आतंकवाद जो लगा बुद्धिजीवियों को परखने का मौका मिला। उस विपरीत परिस्थिति में भी पंडित रामनारायण शास्त्री ने मुङो अपने घर में रखने का साहस किया।

पंडितजी की सोच बताती है कि समाज के बुद्धिजीवियों को हमेशा देश के प्रति समर्पण का भाव रखना चाहिए। दुनिया के कई देशों ने 200 साल में ही अपने मौलिक पंथ को खो दिया पर भारत 750 साल के बाहरी शासन के बावजूद मौलिक पंथ को बरकरार रखा। भारत की एकता इसकी संस्कृति में है।

पटना उच्च न्यायालय के न्यायमूर्ति अजय त्रिपाठी ने शास्त्रीजी के साथ बिताए व्यक्तिगत अनुभवों को साझा किया। विधान पार्षद केदार पांडेय ने कहा कि श्रेष्ठ पुरुष जिस रास्ते पर जाएं, समाज के लोगों को उसी राह पर चलना चाहिए। न्यास के अध्यक्ष श्रीरंजन सूरिदेव, संयोजक अभिजीत कश्यप व सचिव डॉ. शत्रुघ्न प्रसाद ने भी अपने विचार रखे।

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